Say Cheese :)
Sunday, May 3, 2020
सन्नाटा कब तक
निर्जन नव-पथ
कब तक नाविक
कब तक सूने द्वार, दिवस सब
कब तक देख
दीवारें काटें
सूने-सूने
सांझ-सवेरे
कब तक कलरव
बिन वन-उपवन
जीवन उचटा - उचटा
कब तक
आखिर यह सन्नाटा
कब तक ?!
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